अजीतमल। तहसील अजीतमल के सभागार में उप जिलाधिकारी अखिलेश कुमार सिंह ने पराली प्रबंधन व फसल अवशेष के न जलाए जाने के संबंध में तहसील स्तरीय बैठक की जिसमें तहसील अजीतमल के समस्त विभाग के कर्मचारी ने भाग लिया तहसील अजीतमल में अभी तक फसल अवशेष जलाए जाने की 6 घटनाएं प्रकाश में आई हैं सरकार का मानना है कि फसल के अवशेष जलाने पर किसान ही जिम्मेदार होगा, बिना s.m.s. के मशीनों को ना चलाएं यदि बिना s.m.s. के मशीन चलाई जाती है तो उसकी हार्वेस्टर मशीन को सीज कर दिया जाएगा और यदि किसान अपनी मर्जी से चलबाता है तो उसके लिए दोनों लोग जिम्मेदार होंगे पराली प्रबंधन के लिए देश भर में कई तरह की गोष्ठियों और जागरूकता अभियान चलाए जा रहे हैं जिससे पराली को ना जलाया जाए, पराली जलाने से प्रदूषण होता है और हमको सांस लेने में समस्या आती है जिससे वातावरण प्रदूषित होता है, जिस पर रोक लगाने के लिए सरकार ने अहम कदम उठाए हैं ।इस बैठक में अखिलेश कुमार एसडीएम अजीतमल, हरिश्चंद्र तहसीलदार अजीतमल, अभिनव वर्मा नायब तहसीलदार, भूपेंद्र सिंह जेई कृषि विभाग, राजेंद्र सिंह एडीओ एजे अजीतमल, केके तिवारी कानूनगो ,रणवीर सिंह कानून गो, कस्बा इंचार्ज शशिधर त्रिपाठी ,सुशील सेंगर लेखपाल , शोभित यादव लेखपाल, राजेंद्र सिंह लेखपाल ,विनय कुमार लेखपाल ,अखिल कुमार लेखपाल, इत्यादि लेखपाल और कृषि विभाग से राम कुमार ,मोहित चौधरी ,विपिन कुमार, हर्ष कुमार, प्रवीण दुबे, दिनेश सिंह, आजेंद्र सिंह, अरविंद राव कृषि विभाग से और भू संरक्षण विभाग से राकेश सिंह, अमर सिंह दिवियापुर प्रखंड इत्यादि लोग तहसील स्तरीय बैठक सामिल हुए।
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दीपक अवस्थी की रिपोर्ट |